Posted inक्रिकेट

आतंकी फंडिंग पर इमरान खान को बड़ा झटका, FATF कर सकता ब्लैकलिस्ट

आतंकी फंडिंग पर इमरान खान को बड़ा झटका, Fatf कर सकता ब्लैकलिस्ट

इस्‍लामाबाद: चीन की सहायता से फाइनेंशियल ऐक्शन टाक्स फोर्स (FATF) की ग्रे लिस्‍ट बच निकलने के पाकिस्‍तानी सपने को झटका लगा है। बता दें, FATF की क्षेत्रीय इकाई एशिया पैसिफिक ग्रुप ने टेरर फंडिंग व मनी लॉन्ड्रिंग पर रोक लगाने में नाकाम रहने पर पाकिस्तान को ‘Enhanced Follow-Up’ में बरकरार रखा है। एपीजी के इस फैसले से पाकिस्‍तान के FATF  के ग्रे लिस्‍ट में बने रहना कंफर्म हो गया है। बताया जा रहा है कि उस पर अब ब्‍लैक लिस्‍ट होने का खतरा भी छाया हुआ है।

रिपोर्ट के अनुसार, एपीजी ने यह पाया कि टेरर फंडिंग व  मनी लॉन्ड्रिंग को खत्‍म करने के लिए FATF की तरफ से दिए सुझावों को लागू करने में पाकिस्‍तान ने काफी कम  प्रगति की है। वहीं पाकिस्‍तान के मूल्‍यांकन की पहली फॉलो अप रिपोर्ट को एपीजी की तरफ से जारी किया गया है। जिसमें कहा गया है कि FATF की ओर से की गई 40 सिफारिशों में से पाकिस्‍तान ने केवल दो पर प्रगति की है।

पाकिस्‍तान के सिफारिशों को पूरा करने में कोई परिवर्तन नहीं आया

रिपोर्ट में कहा गया है कि पाकिस्‍तान के सिफारिशों के पूरा करने में 1 साल में कोई भी परिवर्तन नहीं आया है। जिसको ध्यान में रखते हुए एपीजी ने ये घोषणा की है कि पाकिस्‍तान ‘Enhanced Follow-Up’ लिस्‍ट में बरकरार रहेगा।  इसके अलावा पाकिस्‍तान को 40 सुझावों को लागू करने के प्रयासों की रिपोर्ट भी देनी पड़ेगी।

बता दें कि, 21 अक्‍टूबर से 23 अक्‍टूबर के बीच में FATF की वर्चुअल रिव्‍यू मीटिंग होनी है, ऐसे वक्त में एपीजी की यह रिपोर्ट सामने आई है।  विशेषज्ञों का कहना है कि इस रिपोर्ट के बाद अब पाकिस्‍तान का ग्रे लिस्‍ट में बना रहना निश्चित हो गया है।  इससे पहले कोविड-19 के बीच पाकिस्‍तान ने खुद को FATF की ग्रे सूची से हटाने के लिए एक बड़ा दांव खेला था।  वहीं पाकिस्‍तान ने बीते 18 महीने में निगरानी सूची से हजारों आतंकवादियों के नाम को हटा दिया था।

अमेरिकी अखबार वॉल स्‍ट्रीट जनरल की रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्‍तान की नेशनल काउंटर टेररिज्‍म अथार्टी इस लिस्‍ट को देखती है। जिसका उद्देश्‍य ऐसे लोगों के साथ वित्‍तीय संस्‍थानों के बिजनेस नहीं करने में सहायता करना है। वहीं इस लिस्‍ट में साल 2018 में कुल 7600 नाम थे, लेकिन पिछले 18 महीने में इसकी संख्‍या को घटाकर अब 3800 कर दिया गया है।

जैश-लश्कर को करने दिया ऑपरेट

अमेरिका के स्टेट डिपार्टमेंट की ‘कंट्री रिपोर्ट्स ऑन टेररिज्म’ में साल 2019 में पाकिस्तान की भूमिका पर सवाल खड़े किए गए है।  जिसमें कहा गया है कि भारत को निशाना बना रहे लश्कर-ए-तैयबा व जैश-ए-मोहम्मद जैसे कई संगठनों को पाकिस्तान ने अपनी जमीन से ऑपरेट करने दिया।

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Exit mobile version