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जाको राखे साइयां, मार सके न कोय! बकरे की बलि देने जा रहा था परिवार, लेकिन रास्ते में ही हुई दर्दनाक मौत

Four Members Of The Family Died But The Goat That Was To Be Sacrificed Survived In Jabalpur
Four members of the family died but the goat that was to be sacrificed survived in Jabalpur

Jabalpur : ”जांको राखे साईयां मार सके ना कोई।” ऐसा ही कुछ घटित हुआ एक बकरे के साथ। जिसने मौत को भी चकमा दिया और उसके साथ के चार लोग परलोक सिधार गए। मामला जबलपुर (Jabalpur) के गांव चरगवां का है। जहां पर एक अनियंत्रित गाड़ी पुल से नीचे गिर गई थी।

जिसमें 4 लोगों की मौत हो गई थी लेकिन साथ में यात्रा कर रहे बकरे को खरोच तक भी नहीं आई थी। आइए जानते है ऐसा क्यों हुआ और क्या है पूरा मामला?

सड़क हादसे में बचा चमत्कारी बकरा

दरअसल जबलपुर (Jabalpur) के चरगवां इलाके में दिल दहला देने वाला सड़क हादसा हुआ। इस हादसे में एक स्कॉर्पियो गाड़ी अनियंत्रित होकर पुल से नीचे गिर गई। इस हादसे में 4 लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि हैरान करने वाली बात यह रही कि स्कॉर्पियो में मौजूद एक बकरा पूरी तरह सुरक्षित बच गया।

ये सभी लोग नरसिंहपुर जिले में दुल्हा देव महाराज के मंदिर से इस बकरे की प्रतीकात्मक बलि चढ़ाकर लौट रहे थे।

हादसे में 4 लोगों की मौके पर ही मौत हो गई

स्कॉर्पियो गाड़ी में 6 लोग सवार होकर गोटेगांव से जबलपुर (Jabalpur) आ रहे थे। इसी दौरान चरगांव के पास सोमवती नदी के पुल पर जा रहा यह वाहन नीचे गिर गया। वाहन के गिरने की घटना के तुरंत बाद आसपास के लोग यहां पहुंचे।

लोगों ने देखा कि वाहन में 6 लोग सवार थे और जिनमें से 4 लोगों की मौके पर ही मौत हो चुकी थी। दो लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। मौके पर मौजूद लोगों ने घटना की सूचना पुलिस को दी।

कैसे हुआ था ये भीषण कार हादसा?

शुरुआती जांच में पता चला है कि तेज रफ्तार के कारण चालक ने वाहन पर से नियंत्रण खो दिया, जिसके कारण एसयूवी पुल की रेलिंग तोड़ते हुए नीचे सूखी नदी में जा गिरी। दुर्घटना की खबर मिलते ही चरगवां पुलिस तत्काल मौके पर पहुंची।

पुलिस और स्थानीय लोगों ने मिलकर घायलों को वाहन के मलबे से बाहर निकाला और मृतकों के शवों को निकालने में काफी मशक्कत करनी पड़ी।

बलि के लिए लाए बकरे की बची जान

जबलपुर (Jabalpur) स्थानीय पुलिस ने बताया कि कार में सवार लोग एक बकरा भी लेकर जा रहे थे। खबरों के मुताबिक वे सभी देवता को बकरे की प्रतीकात्मक बलि चढ़ाकर लौट रहे थे। क्योंकि सभी लोग एक ही समुदाय के थे। मौके पर मौजूद लोगों ने बताया कि वाहन में एक बकरा भी था, जो हादसे में बच गया।

ये सभी लोग नरसिंहपुर जिले के दुल्हा देव महाराज मंदिर में बकरे की प्रतीकात्मक बलि चढ़ाकर लौट रहे थे। उन्होंने बलि के तौर पर बकरे का केवल कान काटा था।

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