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3 महीने पहले हुई थी शादी, अब तिरंगे में लौटे… पाक गोलीबारी में शहीद हुआ बिहार का वीर

Got Married 3 Months Ago, Now Returned In Tricolour-Martyr-Rambabu-Prasad
Got married 3 months ago, now returned in tricolour-martyr-rambabu-prasad

Martyr Rambabu Prasad : आतंकवाद और आतंकियों के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर में सेना का एक और जवान शहीद हो गया है। बिहार के सीवान जिले के रहने वाले रामबाबू प्रसाद (Martyr Rambabu Prasad) 9 मई को पाकिस्तानी गोलीबारी में घायल हो गए थे। आज अस्पताल में इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई।

रामबाबू की शहादत की खबर देने अनुमंडल पदाधिकारी सुनील कुमार और अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी अजय सिंह उनके घर पहुंचे। दोनों अधिकारियों ने परिवार से मुलाकात की और उन्हें उनके बेटे की शहादत की जानकारी दी।

बिहार के लाल रामबाबू प्रसाद हुए शहीद

रामबाबू (Martyr Rambabu Prasad) की शहादत की खबर मिलते ही गांव में शोक की लहर दौड़ गई। शोक संवेदनाओं का तांता लगा हुआ है। शहीद का पार्थिव शरीर बुधवार को दोपहर 3 से 4 बजे के बीच गांव पहुंचने की उम्मीद है।

गांव में अंतिम संस्कार की तैयारियां शुरू हो गई हैं। घटनास्थल पर लोगों का तांता लगा हुआ है। पाकिस्तान की ओर से लगातार हो रही गोलीबारी में बिहार ने अपना लाल खोया है।

फरवरी में ही हुई थी रामबाबू की शादी

रामबाबू प्रसाद (Martyr Rambabu Prasad) सीवान के गौतमबुद्ध नगर थाना क्षेत्र के वासिलपुर गांव के रहने वाले थे। उनके पिता स्वर्गीय रामविचार सिंह हरिहरपुर पंचायत के पूर्व उपमुखिया थे। रामबाबू की शादी फरवरी 2025 में धूमधाम से हुई थी। शादी के बाद वे फरवरी के अंतिम सप्ताह में जम्मू-कश्मीर में अपनी ड्यूटी पर लौटे और 9 मई को पाकिस्तान की ओर से हुई गोलीबारी में शहीद हो गए।

इस खबर से उनकी नवविवाहिता पत्नी और परिवार को असहनीय दुख पहुंचा है। लेकिन साथ ही पूरे देश को उनकी बहादुरी पर गर्व है।

गांव में खबर फैलते ही पसरा मातम

रामबाबू (Martyr Rambabu Prasad) की शहादत की खबर गांव में पहुंचते ही मातम छा गया। उनके परिवार के लोग पार्थिव शरीर लेने जम्मू-कश्मीर गए हुए हैं। आज दोपहर तक उनका पार्थिव शरीर वासिलपुर गांव पहुंचने की उम्मीद है।

अंतिम संस्कार में स्थानीय प्रशासन और सेना के अधिकारी भी शामिल होंगे। जिसे राजकीय सम्मान के साथ किया जाएगा। ग्रामीणों ने बताया कि रामबाबू बचपन से ही देश की सेवा का सपना देखते थे।

आज राजकीय सम्मान के साथ हो सकता है अंतिम संस्कार

गांव को उनकी शहादत पर गर्व है लेकिन उनका इस तरह चले जाना सभी के लिए बेहद दुखद है। इसके बाद से उनका अस्पताल में इलाज चल रहा था। इसी बीच आज सुबह उनकी शहादत की खबर मिली। जिसके बाद पूरे गांव का माहौल गमगीन हो गया। उनके परिजन पार्थिव शरीर लेने के लिए जम्मू-कश्मीर रवाना हो गए हैं।

शहीद रामबाबू (Martyr Rambabu Prasad) का पार्थिव शरीर आज गांव पहुंचेगा और फिर उनका पूरा राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।

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