Ratan Tata : कुछ ही दिन पहले देश के जाने माने बिजनेसमैन रतन टाटा (Ratan Tata) का निधन हो गया। रतन टाटा के जाने के बाद अब लोगों के मन में ये सवाल उठ रहा था कि रतन टाटा की 10,000 करोड़ रुपए की संपत्ति कहां है। आज हम आपको बताते हैं कि रतन टाटा की 10,000 करोड़ रुपये की संपत्ति कहां है।
रतन टाटा ने अपनी संपत्ति में अपने फाउंडेशन, भाई जिमी टाटा, सौतेली बबी शिरीन और डायना जीजीभॉय, हाउस स्टाफ और अन्य लोगों को हिस्सा बनाया है। हालांकि रतन टाटा (Ratan Tata) ने अपनी वसीयत की जिम्मेदारी चार लोगों को दी है। जिसमें असिस्टेंट शांतनु नायडू का भी नाम शामिल है।
Ratan Tata ने कुत्ते टीटो के लिए किया बड़ा काम
ऐसे में आप यहां जानते हैं कि टाटा ग्रुप के विभिन्न बैंक अपने शेयर कैसे लेंगे? इसके अलावा उनका बंगला, कार और अन्य वैभव किसे मिलेंगे? बता दें कि रतन टाटा अपने पीछे करीब 10,000 करोड़ रुपये की संपत्ति छोड़ गए हैं। अपनी वसीयत लागू करने की जिम्मेदारी उन्होंने चार लोगों को दी है। वसीयत में उन्होंने अपने जर्मन शेफ़र्ड डॉग टीटो की ‘असीमित’ देखभाल के लिए संपत्ति का बंटवारा किया है। असल में टीटो को रतन टाटा (Ratan Tata) ने पांच-छह साल पहले गोद लिया था।
रसोइये राजन शॉ को मिली जिम्मेदारी
इसकी देखभाल की जिम्मेदारी उन्होंने अपने रसोइये राजन शॉ को दी है। वसीयत में उनके साथी सुब्बैया का नाम शामिल है जो तीन दशक से रतन टाटा (Ratan Tata) से जुड़े हुए थे। टाटा समूह में चैरिटेबल ट्रस्टों के स्टॉक को छोड़ने की परंपरा जारी है। इस परंपरा को ध्यान में रखते हुए रतन टाटा एंडोमेंट फाउंडेशन (आरटीईएफ) को स्थापित कर दिया जाएगा। रिपोर्ट के मुताबिक, टाटा संस के प्रमुख एनशेंडरसन आरटीईएफ की देखरेख कर सकते हैं।
सार्वजनिक रूप से गुप्त रखी जाएगी वसीयत
रिपोर्ट के मुताबिक, रतन टाटा (Ratan Tata) की वसीयत की सारी बातें तो सार्वजनिक नहीं की गईं, लेकिन इतना जरूर है कि उनकी संपत्ति बड़ी चैरिटी में शामिल होगी। रतन टाटा के भरोसेमंद दोस्त मेहली मिस्त्री ने दो प्राइमरी टाटा चैरिटी, सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट और सर रतन टाटा ट्रस्ट के बोर्ड में ट्रस्टी के रूप में काम किया। बता दें उनकी वसीयत में चार लोग शामिल होंगे।
शिरीन और डायना से रहा रतन टाटा का घनिष्ठ संबंध
इसमें उनकी दोनों बहनें जिनमें शिरीन और डायना जेजीभॉय का नाम शामिल हैं। बता दें ये दोनों रतन टाटा (Ratan Tata) की मां सुनू की सर जमशेदजी जेजीभॉय के साथ दूसरी शादी से हुई बेटियां हैं। ये दोनों बहनें भी पूंजीवादी उद्यम में शामिल रही हैं। डायना ने पहले 1990 और 2000 के दशक की शुरुआत में रतन ट्रस्ट के बोर्ड में ट्रस्टी के रूप में काम किया था। टाटा के एक पूर्व अधिकारी के अनुसार, रतन टाटा की अपनी छोटी बहन के साथ घनिष्ठ संबंध था।
रतन टाटा की कारों की होगी नीलामी
रतन टाटा के पास कईं कारें थी। उनकी बात करें तो रतन टाटा (Ratan Tata) के पास करीब 20 से 30 कारों का बेड़ा था, जिसमें कई लक्जरी मॉडल शामिल हैं। इन पुणे के ताज वेलिंगटन म्यूज़ियम सर्विस अपार्टमेंट में रखा गया है। इस मूल पर अभी विचार किया जा रहा है। टाटा समूह खरीदकर पुणे स्टॉक एक्सचेंज में रखा जा सकता है या फिर ट्रस्ट कि ओर से इन्हें नीलाम किया जा सकता हैं।
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