तब तीस साल के नौजवान रहे खेदारू की ईमानदारी मिसाल बन गई थी। बात 1980-81 की है। गोड़ियापट्टी के खेदारू नारायणपुर घाट रोड (तब भट्टी रोड) में छोटी सी परचून की दुकान चलाते थे। उन्हें दुकान के पीछे खंडहर में दस किलो सोने से भरी गगरी (घड़ा) मिली। खेदारू ने प्रशासन को सूचित किया और […]