MCC vs OxUni: क्रिकेट के इतिहास में एक बेहद ही अजीब ओ गरीब कारनामा देखने को मिला है, जहां एक टीम (MCC vs OxUni) पहले इन इनिंग में 43 ओवर खेलकर केवल 12 रन बनकर सभी 10 विकेट खो बैठी हैं। इस पारी को क्रिकेट इतिहास की अब तक की सबसे धीमी और कम स्कोर वाली परियों में से एक मानी जा रही है। तो आइए जानते है इस मैच के बारी विस्तार से…..
इतिहास की सबसे धीमी पारी 43 ओवर में बनाए 12 रन

दरअसल हम जिस कारनामे की बात कर रहे है, वो 1877 में देखने को मिला जब ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी और मैरीलेबोन क्रिकेट क्लब (MCC vs OxUni) के बीच खेले गए विश्वविद्यालय मैच में ऑक्सफोर्ड की टीम ने अपने पहले इनिंग्स में 43 ओवर खेलकर केवल 12 रन बनाये और सभी 10 विकेट खो दिए। यह पारी आज भी क्रिकेट की सबसे धीमी और कम स्कोर वाली पारियों में से एक मानी जाती है।
MCC के गेंदबाजों का कहर
मैच ऑक्सफोर्ड, इंग्लैंड में खेला गया। MCC की गेंदबाजी ने बल्लेबाजों को दबाव में रखा और विकेट चटकाने में कोई कसर नहीं छोड़ी। ऑक्सफोर्ड (MCC vs OxUni) के बल्लेबाजों को रन बनाने में बेहद कठिनाई का सामना करना पड़ा और उनका संघर्ष केवल छह-छह रन और कुछ बाउंड्री तक सीमित रह गया। इस दौरान पिच की परिस्थितियां, गेंदबाजों का दबदबा और मानसिक तनाव सभी ने मिलकर टीम की बल्लेबाजी को प्रभावित किया।
MCC ने बनाए 124 रन
ऑक्सफोर्ड (MCC vs OxUni) की टीम की धीमी बल्लेबाजी ने MCC के गेंदबाजों को आत्मविश्वास प्रदान किया और उन्होंने लगातार विकेट लेकर विरोधी टीम को मुश्किल में डाल दिया। पहली पारी में इतने कम रन और जल्दी विकेट गिरने की वजह से MCC को सहज रूप से फॉलोऑन का लाभ मिला। MCC ने अपनी पहली पारी में 124 रन बनाकर मजबूत स्थिति बना ली, जिससे ऑक्सफोर्ड की मुश्किल और बढ़ गई।
क्रिकेट इतिहास में इस पारी को इसलिए भी याद रखा जाता है क्योंकि इसमें बल्लेबाजों की रणनीति और मानसिक सहनशीलता पर गंभीर सवाल उठाए गए। 43 ओवरों में सिर्फ 12 रन बनाना और सभी विकेट खोना एक ऐसी घटना है जिसने खिलाड़ियों और दर्शकों दोनों को हैरान कर दिया। यह पारी आज भी क्रिकेट के तकनीकी और रणनीतिक पहलुओं का उदाहरण मानी जाती है।
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