Chaos-Breaks-Out-During-Vote-Theft-Protest-Mahua-Moitra-Faints-Akhilesh-Yadav-Climbs-The-Barricade-Rahul-Priyanka-Taken-Into-Custody

Vote Theft: राजधानी दिल्ली में सोमवार को विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया ब्लॉक’ द्वारा चुनाव आयोग (EC) की ओर मार्च के दौरान हाई-ड्रामा देखने को मिला। विपक्षी नेताओं ने 2024 लोकसभा चुनाव में कथित ‘वोट चोरी’ (Vote Theft) और बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) प्रक्रिया के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे है। इस मार्च में कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, शिवसेना (UBT) और अन्य दलों के नेता शामिल हुए।

बेहोश हुई महुआ मोइत्रा

Vote Theft
Vote Theft

सुबह संसद से शुरू हुए इस मार्च का लक्ष्य चुनाव आयोग का दफ्तर था, लेकिन दिल्ली पुलिस ने इसे मंजूरी नहीं दी। ‘वोट चोरी’ (Vote Theft) के प्रदर्शन के दौरान बैरिकेड और सुरक्षा बलों के बीच प्रदर्शनकारी नेताओं ने आगे बढ़ने की कोशिश की, जिससे माहौल गरमा गया। इसी दौरान तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा की तबीयत बिगड़ गई और वे बेहोश होकर गिर पड़ीं। उन्हें तुरंत चिकित्सकीय सहायता दी गई।

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बैरिकेडिंग पार कर गए अखिलेश यादव

इसी दौरान (Vote Theft) समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने पुलिस बैरिकेडिंग को लांघकर प्रदर्शन में अलग ही जोश भर दिया। उनका यह कदम कैमरों में कैद हो गया और सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया। वहीं कांग्रेस नेता राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा सहित कई सांसदों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया।

विपक्ष ने वोट चोरी के लगाए आरोप

करीब 300 विपक्षी सांसदों का आरोप है कि चुनाव आयोग और केंद्र सरकार ने चुनावी प्रक्रिया में हेरफेर (Vote Theft) की, जिससे मतदाता सूचियों में गड़बड़ी हुई और हजारों मतदाताओं के नाम गायब हो गए। विपक्ष का दावा है कि बिहार में SIR प्रक्रिया के बहाने मतदाता सूचियों में धांधली की गई।

प्रदर्शन के दौरान शिवसेना (UBT) के संजय राउत और अन्य नेताओं को भी हिरासत में लिया गया। विपक्ष का कहना है कि लोकतंत्र में शांतिपूर्ण विरोध का अधिकार छीनना जनता की आवाज दबाने की कोशिश है।

SIR प्रक्रिया पारदर्शी- चुनाव आयोग

चुनाव आयोग की ओर से अब तक इस मामले (Vote Theft) में विस्तृत बयान नहीं आया है, हालांकि पहले EC ने कहा था कि SIR प्रक्रिया पारदर्शी है और इसमें किसी तरह की धांधली नहीं हुई।

यह प्रदर्शन सिर्फ एक राजनीतिक टकराव नहीं, बल्कि आने वाले राज्यों और आम चुनावों के लिए माहौल बनाने की कोशिश भी माना जा रहा है। विपक्ष ने स्पष्ट किया कि यह आंदोलन यहीं नहीं रुकेगा और चुनावी पारदर्शिता के लिए संघर्ष जारी रहेगा।

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Kamakhya Reley is a journalist with 3 years of experience covering politics, entertainment, and sports. She is currently writes for HindNow website, delivering sharp and engaging stories that connect with...