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Meerut Murder Case : मेरठ (Meerut Murder Case) के चर्चित सौरभ राजपूत हत्याकांड में नया मोड़ सामने आया है। पिछले 75 दिनों से मेरठ जेल में बंद मुख्य आरोपी मुस्कान अब कानून की पढ़ाई कर खुद अपना केस लड़ने की तैयारी कर रही है।

जेल प्रशासन को दिए गए पत्र में मुस्कान ने कहा है कि उसे भरोसा नहीं है कि कोई वकील उसका केस ईमानदारी से लड़ेगा। इसलिए अब उसका इरादा खुद वकील बनने का है।

जेल प्रशासन से किया एलएलबी की पढ़ाई का अनुरोध

Meeerut Murder Case

मेरठ (Meerut Murder Case) जेल के वरिष्ठ अधीक्षक डॉ. वीरेश राज शर्मा के मुताबिक मुस्कान ने पत्र के जरिए एलएलबी की पढ़ाई के बारे में जानकारी मांगी है। जेल प्रशासन अब इस बात पर विचार कर रहा है कि जेल में बंद आरोपी को उच्च शिक्षा खासकर कानून जैसे विषय में किस हद तक सुविधा दी जा सकती है।

जेल में इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय के जरिए हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की पढ़ाई की व्यवस्था पहले से है, लेकिन एलएलबी के लिए अलग से कोई व्यवस्था नहीं है।

मुस्कान अकेले लड़ना चाहती है कानूनी लड़ाई

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मेरठ (Meerut Murder Case) जेल प्रशासन ने यह भी बताया कि मुस्कान के परिवार का कोई भी सदस्य अभी तक उससे मिलने नहीं आया है। वहीं सह-आरोपी साहिल की दादी और भाई उससे मिल चुके हैं और उसके लिए एक निजी वकील की व्यवस्था की जा रही है। मुस्कान के पास फिलहाल एक ही सरकारी वकील है।

क्या है आरोपी मुस्कान की शैक्षणिक योग्यता?

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मुस्कान की पारिवारिक पृष्ठभूमि और शैक्षणिक योग्यता के बारे में बात करते हुए उसके परिजनों ने बताया कि उसने सिर्फ 9वीं तक ही पढ़ाई की है। ऐसे में अगर वह एलएलबी करना चाहती है तो सबसे पहले उसे हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की पढ़ाई पूरी करनी होगी।

उसके बाद ही वह किसी मान्यता प्राप्त संस्थान से कानून की पढ़ाई शुरू कर सकती है। इसके अलावा नशे की लत से छुटकारा पाने के लिए काउंसलिंग और मेडिटेशन का भी सहारा लिया जा रहा है।

नशा नहीं मिलने से परेशान मुस्कान और साहिल

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मेरठ (Meerut Murder Case) के डॉक्टरों का कहना है कि नशा ना मिलने से मुस्कान और साहिल काफी परेशान हैं। लेकिन अगले 15 दिनों में उनकी हालत में काफी सुधार हो सकता है। जेल प्रशासन ने बताया कि जेल में आने के बाद से मुस्कान को अपनी बेटी की याद तक नहीं आई है।

वह जेल से रिहा होने की पूरी कोशिश कर रही है। मेरठ (Meerut Murder Case) के जेल प्रशासन ने बताया कि जरूरत पड़ने पर उन्हें मनोचिकित्सक भी उपलब्ध कराए जाएंगे।

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