Ganja: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से नशे से जुड़ा एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है. जहां पुलिस ने स्ट्रीट फूड बेचने की आड़ में गांजा (Ganja) बेचने वाले लोगों को गिरफ्तार किया है. ये लोग स्कूल बैग में भरकर कॉलेजों और बस अड्डों पर सप्लाई करते थे. पुलिस ने इन मामलों में 4 लोगों को गिरफ्तार किया है. दोनों ही मामले अलग-अलग इलाकों के हैं, लेकिन ड्रग्स सप्लाई का तरीका बेहद चौंकाने वाला है.
स्ट्रीट फ़ूड में मिलाया Ganja

मोहनलालगंज इलाके में एक छोटी सी दुकान पर आलू टिक्की और अंडे बेचने वाले 42 वर्षीय प्रमोद साहू अब गांजा (Ganja) मिला हुआ स्नैक्स बेच रहे थे. पुलिस जाँच में पता चला है कि प्रमोद अपने कुछ ‘खास ग्राहकों’ को आलू की टिक्की, चटनी और दूसरे स्ट्रीट फ़ूड में गांजा मिलाकर देता था ताकि उन्हें धीरे-धीरे इसकी लत लग जाए. इतना ही नहीं, वह पैकेट में भी गांजा बेचता था. जब पुलिस को इसकी पुष्ट जानकारी मिली तो छापेमारी कर प्रमोद को गिरफ्तार कर लिया गया.
छात्रों को बना रहे थे निशाना
दूसरी कार्रवाई नगराम थाना क्षेत्र में हुई, जहां तीन आरोपियों मनीष यादव (26), देव रावत (28) और जगदीप यादव (43) को गिरफ्तार किया गया. पुलिस के अनुसार, ये लोग स्कूल बैग में गांजा भरकर रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड, टैक्सी स्टैंड और यहां तक कि स्कूल-कॉलेजों के पास ले जाकर बेचते थे. गांजे (Ganja) के पैकेट छोटे पॉलीथीन बैग में थे, जिनकी कीमत ₹500 से ₹1200 तक थी. ये तीनों युवाओं और छात्रों को निशाना बना रहे थे.
पुलिस की चिंता और कार्रवाई
पुलिस ने एक गुप्त सूचना के आधार पर समेसी और करोरा बाजार के बीच नहर के पास ई-रिक्शा में सवार तीनों को पकड़ लिया. उनकी तलाशी लेने पर उनके पास से 4.7 किलोग्राम गांजा (Ganja) बरामद हुआ, जिसे वे बेचने की तैयारी कर रहे थे. पुलिस अधिकारियों का कहना है कि नशे की यह सप्लाई बस्तियों और शिक्षण संस्थानों के पास फैलाई जा रही थी, जो बेहद गंभीर मामला है.
मोहनलालगंज के सहायक पुलिस आयुक्त रजनीश वर्मा ने बताया कि दोनों मामलों में चार आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है. साथ ही, पुलिस इस पूरे ड्रग नेटवर्क की गहराई से जाँच कर रही है, ताकि इसमें शामिल अन्य लोगों को भी पकड़ा जा सके।