2 जुलाई को मैं कमरे में बिस्तर पर ही लेटी हुई थी। उस दौरान किसी के कूदने की आहट आई। मैं चिल्लाई कौन है मगर किसी ने आवाज नहीं दी। तब मुझे मनु ने बताया कि वह एक पुलिस अधिकारी है। कुछ कुछ मिनट बाद उसे उसी अधिकारी की आवाज सुनाई दी। अधिकारी कह रहा था कि मार क्यों रहे हो। इस पर अमर ने उसे गाली देते हुए कहा था कि पंडित का एनकाउंटर करने आए हो अंजाम तो भुगतना ही पड़ेगा। इसके साथ ही छत पर से एक तीसरी आवाज आई जिसने यह कहा कि मारो इतना इंतजार किसका कर रहे हो। उसके बाद गोली की आवाज आई और घर में सन्नाटा छा गया।
ये किसी फिल्मी की स्क्रिप्ट नहीं बल्कि 2 जुलाई की रात आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के बाद मुठभेड़ में मारे गए विकास दुबे के मामा प्रेम प्रकाश पांडेय की पत्नी सुषमा द्वारा पुलिस को दिया गया बयान है। मुठभेड़ में मारे गए प्रेमप्रकाश की पत्नी ने 19 दिन बाद पूरी कहानी ही बयां कर दी।
सीओ ने हमलावरों को दी थी चुनौती
पूछताछ के दौरान सुषमा ने बताया कि दो जुलाई की रात सीओ जब उनके घर में कूदे थे। उन्होंने हमलावराें को चुनौती भी दी। और उनसे मोर्चा लेने का भी प्रयास किया। लेकिन चारों तरफ हमलावरों से घिरे होने के कारण वो ज्यादा देर तक मोर्चा न ले सके। चीख-पुकार के बीच सीओ को गोली मार उनकी हत्या कर दी।
मनु ने शुरुआत से ही झूठ बोला
सुषमा वृद्ध है और बिस्तर से उठ नहीं सकती। उनकी बहु मनु ने शुरुआत से झूठ बोला लेकिन अंत में वह भी टूट गई और पुलिस को सारी घटना बयान की। 2 जुलाई से अब तक सुषमा ने चुप्पी साध रखी थी। वह किसी से कोई बात नहीं कर रही थी।
अम्मा मार दिया पुलिस वाले को अब क्या होगा
सुषमा ने बताया कि घटना के बाद वह चिल्ला रही थी क्या हुआ, क्या हुआ। मनु उसके पास मौजूद थी। उसने कहा अम्मा, मार दिया पुलिस वाले को। अब क्या होगा अम्मा। तब कुछ लोगों के छत पर जाने की आवाज आई थी।